प्रवेशद्वार और वास्तुशास्त्र 1.- घर का मुख्य प्रवेश द्वार एक ही बनाना चाहिए यह मुख्य द्वार अन्य द्वार से बड़ा होना चाहिए। वास्तु के अनुसार ऐसा इसलिए है क्योंकि इससे होकर ही सकारात्मक ऊर्जा का घर में प्रवेश होता है।

2.- मुख्य द्वार बाहर की ओर ना खुलकर भीतर की ओर खुलने चाहिए अन्यथा शारीरिक रोग बढ़ने की आशंका रहती है।

3.- मुख्य दरवाजे पर चौखट अवश्य होनी चाहिए। ऐसा ना होने पर धन की हानि होने लगती है।
4.-चौखट लकड़ी या पत्थर की भी बनी हो सकती है। चौखट में नीचे की देहली भी अवश्य होनी चाहिए। यह लक्ष्मी के स्थिर वास का द्योतक है।

5.- वैसे तो मुख्य प्रवेश द्वार का एक पल्ला होना चाहिए, फिर भी इसके दो पल्ले भी हो सकते हैं। मुख्य द्वार कार आदि वाहन अंदर जाने के लिए बड़ा होने के कारण दो पल्लो के अलग अलग कब्जे होने के कारण.  मुख्य द्वार का बोझ आसानी से उठा सकते हैं। साथ ही मुख्य द्वार को खोलना और बंद करना भी आसान हो जाएगा।

 

मुख्य प्रवेशद्वार और वास्तुशास्त्र : वास्तु टिप्स

  1. मुख्य प्रवेश द्वार जमीन से कुछ ऊपर ही होना चाहिए ताकि किसी प्रकार के जीव आदि आसानी से घर में प्रवेश ना कर सकें।
  2. छाया को कभी भी अनुकूल और शुभ नहीं माना जाता है। इसलिए इस बात का हमेशा ध्यान रखें कि दरवाजे पर किसी भी चीज जैसे ऊंचा वृक्ष,दूसरी इमारत आदि की छाया ना पड़े।
  3. प्रवेश द्वार के कपाटों में किसी भी प्रकार के छिद्रों होना भी अशुभ होता है। दरवाजे में किसी भी प्रकार की दरार पड़ने से घर में दरिद्रता आती है।
  4. मुख्य द्वार किसी भी प्रकार की आवाज से रहित होना चाहिए। अन्यथा स्वास्थ्य तथा उन्नति पर बुरा प्रभाव पड़ेगा और घर में नित्य कलह रहेगी। अतः ऑयल, ग्रीस आदि डालकर किसी भी प्रकार की आवाज रोकने का उपाय करने चाहिए।
  5. घर के मुख्य द्वार पर कभी भी अंधेरा नहीं होना चाहिये। यहां हमेशा अच्छी रोशनी रहनी चाहिए जिससे नकारात्मक ऊर्जा आस पास नहीं भटकती।

 

आकर्षक और खूबसूरत बनाये प्रवेश द्वार

अपने घर के प्रवेश द्वार को आकर्षक और खूबसूरत बनाने की यथासंभव प्रयास करें। इसके लिए दरवाजे पर फूलों के गमले और बेल वाले पौधे लगा सकते हैं।

घर के बाहर शुभ लाभ,लक्ष्मी के पांव, स्वस्तिक एवं ओम आदि के चिन्ह बनवाए। सुंदर सी नेम प्लेट या नंबर प्लेट भी लगवा सकते हैं। देवी देवताओं की तस्वीरें फूलों की नक्काशी या पेंटिंग भी शुभ प्रभाव देने वाली होती है।

भवन को किसी भी प्रकार के दृष्टि दोष से बचाने के लिए द्वार के ऊपर दीवार पर काले घोड़े की नाल का जोड़ा लगाना उत्तम माना जाता है। घोड़े ऊर्जा प्रवाहित करते हैं इन का चित्र प्रवेश द्वार पर लगाने से व्यक्ति सफलता की ओर अग्रसर रहता है। मुख्य द्वार पर पक्षियों और जानवरों के चित्र लगाने से बचें।

कुछ लोग घर के मुख्य दरवाजे के पास लालटेन, कंदील आदि सजावटी वस्तुएं लगा देते हैं। यदि घर का मुख्यद्वार पूर्व या उत्तर दिशा की ओर हो तो इन के प्रयोग से यथासंभव बचें।

प्रवेश द्वार के ठीक सामने झाड़ू नहीं रखनी चाहिए। इसे ऐसी जगह रखें जहां घर के सदस्यों के अतिरिक्त किसी की नजर ना पड़े। इसके अतिरिक्त कभी भी झाड़ू को उल्टा खड़ा करके भी नहीं रखना चाहिए।

प्रवेश द्वार के ठीक सामने कचरा पात्र या जूते कभी नहीं रखने चाहिए। इससे भी धन आगमन बाधित होता है।

उपर्युक्त दिए गए सभी सुझाव वास्तु शास्त्र के नियमों के अनुसार हैं। आप इन सभी सुझावों का यथासंभव पालन करें और आने वाले वर्ष में अपने सौभाग्य को आमंत्रित करें ऐसी हमारी कामना है।

वास्तु शास्त्र से संबंधित किसी भी अन्य जानकारी के लिए आप हमारे वास्तु शास्त्री सुनील मेहतानी (Vastu Consultant Sunil Mehtani) 98 1010 5005 से संपर्क कर सकते है।

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